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रविवार, 26 नवंबर 2023

क्या शहरों को रेगिस्तान बना देने का वक्त आ गया ?

 

आलमी जंग के मुहाने पर फिर से इंसान आ गया
ऐटमी जंग नज़दीक, क्या क़यामती वक्त आ गया ?
तरबियत और तरक़्क़ी के सफ़र में सदियाँ लगीं थीं

Mahavir Singh

क्या शहरों को रेगिस्तान बना देने का वक्त आ गया ?
अपने पड़ोसी को माल-ए-ग़नीमत कभी मत समझो
नफ़रत की किताबें को जलाने आज का वक्त आ गया
जन्नत की शराब शहद हुर्रें पाने काजी को पहले भेजो
झूठे ख़्वाबों से आप के जाग जागने का वक्त आ गया
ग़ैर मोमिन वाजिब क़त्ल, आलिम तो नहीं कह सकता
फ़र्ज़ी फ़तवों को तुरंत नकारने का अब वक्त आ गया
हिंदुओं, यहूदियों से हुनरमंदी सीख लेने में अक्लमंदी है
सिनेगॉग, मस्जिद में अमन करार होने का वक्त आ गया
मंदिर गिरजा मस्जिद वालों, इल्म का तक़ाज़ा समझो
जाहिलियत को छोड़ दो, इंसानियत का वक्त आ गया
अपने अपने तरीक़े से पूजा प्रार्थना इबादत वाजिब हैं
मज़हब के नाम पर, खूं-रेजी रोकने का वक्त आ गया
तारीख़ गवाह है, मासूम और बेक़सूर ही पहले मरते हैं
जुल्मों से ग़ुरबत ही बढ़ेगी, समझने का वक्त आ गया
हजारों सालों की मेहनत बाद लोग चांद तक पहुँचे हैं
मंगल से आगे सफ़र करने का मंगलमय वक्त आ गया
सब के लिये ‘एक नूर’ ने ही, सब्ज बाग जमीन बनाई है
शांति-दूतों में गांधीवादी नबी के आने का वक्त आ गया
मोदी जी ने पुतिन से कहा था, ये सदी जंगों की नहीं है
जहां में फिर शांति फैलाने हेतु, भारत का वक्त आ गया
आलमी जंग के मुहाने पर फिर से इंसान आ गया
ऐटमी जंग नज़दीक, क्या क़यामती वक्त आ गया ?
………. स्व रचित

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